आज हम आपको मेक इन इंडिया के बारे में बताने जा रहे हैं। कृपया पूर्ण जानकारी के लिए इस ब्लॉग को अवश्य पढ़ें। और अन्य जानकारी के लिए नव जगत के साथ बने रहे ।
मेक इन इंडिया से तात्पर्य
भारत को एक विनिर्माण देश के रूप में विकसित करना है ‘मेक इन इंडिया’ के माध्यम से सरकार विभिन्न देशों की कंपनियों को भारत में लगने वाले कर में छूट देकर अपना उद्योग भारत में स्थापित करने के लिए प्रोत्साहित करेंगी. जिससे की भारत का आयात बिल कम हो सके और देश में रोजगार का सृजन हो सके। और उसी के माध्यम से भारत में अधिक से अधिक रोजगार के अवसर मिलेंगे. और यहां के युवाओं को रोजगार प्राप्त होगा. जिससे भारत तीव्र गति से विकसित होने लगेगा.
मेक इन इंडिया का उद्देश्य क्या है?
‘मेक इन इंडिया’ मुख्यता निर्माण क्षेत्र पर केंद्रित होती है परंतु इसका मुख्य उद्देश्य देश की जो बड़ी-बड़ी कंपनियां हैं जिनकी मार्केटिंग ज्यादा होती है उनको और बढ़ावा देने से है।मेक इन इंडिया का दृष्टिकोण निवेश के लिए अनुकूल वातावरण तैयार करना है, जिससे आधुनिक और कुशल बुनियादी संरचना तैयार की जा सके. और साथ ही विदेशी निवेश के लिए नए क्षेत्रों का आरंभ करना. जिससे सरकार एवं उद्योग के बीच मित्रता को बढ़ाकर एक अच्छे साझेदारी का निर्माण करना.
मेक इन इंडिया कार्यक्रम का शुभारंभ कब किया गया?
भारत में 25 सितंबर 2014 को भारत के प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी द्वारा मेक इन इंडिया नाम का एक महत्वपूर्ण अभियान आरंभ किया गया था। इस अभियान का मुख्य लक्ष्य भारत को वैश्विक आर्थिक पहचान बनाना है। इस कार्यक्रम के दौरान प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी जी ने कहा कि निवेशकों को इस अभियान को एक रोजगार के अवसर के रूप में देखना चाहिए, ना कि भारत के बाजार के रूप में इसे समझे. क्योंकि इसके माध्यम से कई बेरोजगार युवाओं को रोजगार प्राप्त हो सकेगा। और उन्हीं युवाओं के माध्यम से भारत भी तीव्र गति से विकसित होने लगेगा.
मेक इन इंडिया कितना सफल रहा?
मोदी सरकार के मेक इन इंडिया प्रोग्राम के तहत देश की अर्थव्यवस्था को मजबूती मिली है। विदेशी निवेश को काफी बढ़ावा मिला है। मेक इन इंडिया के माध्यम से युवाओं को नई सोच के साथ व्यापार में अपना हाथ आजमाने का भी मौका मिल रहा है. और इसके साथ ही कई प्रोडक्ट का निर्माण भारत में ही होने के कारण, यहां रोजगार के अवसर अधिक से अधिक उपलब्ध होंगे. जिससे यहां के युवाओं को अधिक से अधिक रोजगार प्राप्त होगा.।
मेक इन इंडिया में रोजगार
मेक इन इंडिया के अंतर्गत विनिर्माण की नए-नए उद्योग स्थापित किए जाएंगे और इन उद्योगों के द्वारा सिर्फ अपने कारोबार को बढ़ाना ही नहीं सोचा जाएगा, बल्कि उसके माध्यम से देश की आर्थिक अर्थव्यवस्था भी बढ़ेगी, और साथ में जो युवक बेरोजगार हैं उनके लिए नौकरियों का संसाधन भी प्राप्त हो जाएगा. और वह बेरोजगार नहीं रह जाएंगे उनको भी रोजगार प्राप्त होगा. और इससे ना केवल उन युवकों की बल्कि, पूरे भारत देश की आर्थिक स्थिति में सुधार होगा. और वह स्वयं को और साथ ही देश को भी विकसित करेंगे. जिससे कि अपना भारत देश आत्मनिर्भर हो जाएगा. और तीव्र गति से वृद्धि करेगा.
मेक इन इंडिया नीति और नियम
‘मेक इन इंडिया’ पहल के तहत, केंद्र सरकार केंद्रित 25 क्षेत्रों के उत्पादन स्तर में अधिकतम वृद्धि चाहती है। मुख्य नीति अपने व्यापार का विस्तार करने और वैश्विक बाजार तक पहुंचने के लिए इन-हाउस विनिर्माण इकाइयों की सुविधा है। इसके अतिरिक्त, देश में अधिक एफ.डी.आई. आकर्षित करने के लिए विदेशी कंपनियों और निवेशकों को ई.ओ.डी.बी. प्रदान करने की सरकार की नीति इसके अंतर्गत आती है। इस मेक इन इंडिया पहल से पहले, रक्षा क्षेत्र में केवल 26% एफ.डी.आई. को मंजूरी दी गई थी, जो नए नियमों के तहत 49% हो गई है। रेलवे सेक्टर में भी 100% तक F.D.I. की अनुमति दी गई है।
मेक इन इंडिया 25 चयनित क्षेत्र
अनेकों शोध और विश्लेषण के बाद 25 विभिन्न क्षेत्रों का एक समूह बनाया गया है जिन्हें इस नीति के अनुसार उनके पदों में उन्नत की जाएगी। इन क्षेत्रों में विदेशी निवेश में वृद्धि के साथ-साथ विनिर्माण और उत्पादक गुणवत्ता में सुधार के लिए अधिक दायरे मे थे।इसका अर्थ यह हुआ कि इन क्षेत्रों में रोजगार के अवसर भी ज्यादा से ज्यादा उपलब्ध होंगे. क्योंकि बड़ी उत्पादकता और वैश्विक पहुंच का मतलब अधिक से अधिक जनशक्ति होगा। इस नीति के तहत जिन क्षेत्रों को चुना गया है.
- ऑटोमोबाइल उद्योग
- ऑटोमोबाइल हेतु सामग्री उद्योग
- विमानन उद्योग
- जैव प्रौद्योगिकी उद्योग
- रसायन उद्योग
- निर्माण उद्योग
- रक्षा विनिर्माण उद्योग
- विद्युत मशीनरी उद्योग
- इलेक्ट्रॉनिक सिस्टम उद्योग
- खाद्य प्रसंस्करण उद्योग
- सूचना प्रौद्योगिकी और व्यवसाय प्रक्रिया प्रबंधन उद्योग
- चमड़ा उद्योग
- मीडिया और मनोरंजन उद्योग
- खनिज उद्योग
- तेल और गैस उद्योग
- फार्मास्यूटिकल्स उद्योग
- पोर्ट और शिपिंग उद्योग
- रेलवे उद्योग
- नवीकरणीय ऊर्जा उद्योग
- सड़कें और राजमार्ग
- अंतरिक्ष और खगोल विज्ञान
- वस्त्र और वस्त्र उद्योग
- तापीय उर्जा
- पर्यटन और आतिथ्य उद्योग
- जन कल्याण
मेक इन इंडिया से संपर्क
इस कंटेंट में हमने आपको अपनी ओर से पूरी जानकारी देने की कोशिश की है. अगर आपको इससे भी ज्यादा जानकारी प्राप्त करनी है. तो इस वेबसाइट पर https://www.pmindia.gov.in जाकर क्लिक करें इसमें आपको मेक इन इंडिया के बारे में संपूर्ण जानकारी प्राप्त हो सकेगी.
आशा करते हैं कि यह ब्लॉग आपको मेक इन इंडिया की पूर्ण जानकारी प्रदान करने में समर्थ रहा। अन्य महत्वपूर्ण और रोचक जानकारी के लिए हमारे अन्य ब्लॉग को अवश्य पढ़ें ।
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